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शे'र
जफ़ा की बातें सदा बनाना वफ़ा की बातें कभी न करनाख़ुदा के घर में कमी नहीं है किए में अपने कमी न करना
मुज़्तर ख़ैराबादी
शे'र
इस से पहले आँख की पुतली की क्या औक़ात थीतेरे नुक़्ता देते ही क्या क्या नज़र आने लगा
मुज़्तर ख़ैराबादी
शे'र
इ’श्क़ की इब्तिदा भी तुम हुस्न की इंतिहा भी तुमरहने दो राज़ खुल गया बंदे भी तुम ख़ुदा भी तुम
बेदम शाह वारसी
शे'र
महबूब वारसी गयावी
शे'र
क़ासिद की उम्मीद है यारो क़ासिद तो आ जाएगालेकिन हम उस वक़्त न होंगे जब उन का ख़त आएगा
पुरनम इलाहाबादी
शे'र
क़ासिद की उम्मीद है यारो क़ासिद तो आ जाएगालेकिन हम उस वक़्त न होंगे जब उन का ख़त आएगा
पुरनम इलाहाबादी
शे'र
क़ासिद की उम्मीद है यारो क़ासिद तो आ जाएगालेकिन हम उस वक़्त न होंगे जब उन का ख़त आएगा
पुरनम इलाहाबादी
शे'र
गुलशन-ए-जन्नत की क्या परवा है ऐ रिज़वाँ उन्हेंहैं जो मुश्ताक़-ए-बहिश्त-ए-जावेदान-ए-कू-ए-दोस्त
अमीर मीनाई
शे'र
गुलशन-ए-जन्नत की क्या परवा है ऐ रिज़वाँ उन्हेंहैं जो मुश्ताक़-ए-बहिश्त-ए-जावेदान-ए-कू-ए-दोस्त