आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "jamal ahmad nadeem qasmi ebooks"
शेर के संबंधित परिणाम "jamal ahmad nadeem qasmi ebooks"
शे'र
दहन है छोटा कमर है पतली सुडौल बाज़ू जमाल अच्छातबीअत अपनी भी है मज़े की पसंद अच्छी ख़याल अच्छा
शाह अकबर दानापूरी
शे'र
जो मिटा है तेरे जमाल पर वो हर एक ग़म से गुज़र गयाहुईं जिस पे तेरी नवाज़िशें वो बहार बन के सँवर गया
फ़ना बुलंदशहरी
शे'र
नीस्ती हस्ती है यारो और हस्ती कुछ नहींबे-ख़ुदी मस्ती है यारो और मस्ती कुछ नहीं
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
बा हम: ख़ूबरूईयम आ‘शिक़-ए-रू-ए-कीस्तमरुस्त: ज़े-दाम-ए-जिस्म-ओ-जाँ बस्त:-ए-मू-ए-कीस्तम
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
हिज्र की जो मुसीबतें अ’र्ज़ कीं उस के सामनेनाज़-ओ-अदा से मुस्कुरा कहने लगा जो हो सो हो
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
जान जाती है चली देख के ये मौसम-ए-गुलहिज्र-ओ-फ़ुर्क़त का मिरी जान ये गुलफ़ाम नहीं
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
लाया तुम्हारे पास हूँ या पीर अल-ग़ियासकर आह के क़लम से मैं तहरीर अल-ग़ियास
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
तू ने अपना जल्वा दिखाने को जो नक़ाब मुँह से उठा दियावहीं हैरत-ए-बे-खु़दी ने मुझे आईना सा दिखा दिया
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
तू ने अपना जल्वा दिखाने को जो नक़ाब मुँह से उठा दियावहीं हैरत-ए-बे-खु़दी ने मुझे आईना सा दिखा दिया
शाह नियाज़ अहमद बरेलवी
शे'र
इ’श्क़ में पूजता हूँ क़िब्ला-ओ-काबा अपनाएक पल दिल को मिरे उस के बिन आराम नहीं