आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "chup"
अत्यधिक संबंधित परिणाम "chup"
शे'र
अरे दिल मिस्ल-ए-बुलबुल चुप हमेशा नाला-ज़न है तूँकहीं गुल-पैरहन गुल-रू की पाया कुछ ख़बर है रे
तुराब अली दकनी
कलाम
रहने दो चुप मुझे न सुनो माजरा-ए-दिलमैं हाल-ए-दिल कहूँ तो अभी मुँह को आए दिल
ख़्वाजा अज़ीज़ुल हसन मज्ज़ूब
दकनी सूफ़ी काव्य
ऐ पंच-भूत क्या है चुप इतना साँसा
ऐ पंच-भूत क्या है चुप इतना साँसाघड़ी में जो तोला घड़ी में जो मासा
शाह मियाँ तुराब दकनी
शब्दकोश से सम्बंधित परिणाम
अन्य परिणाम "chup"
दोहा
रहिमन चुप ह्वै बैठिए देखइ दिनन को फेर
रहिमन चुप ह्वै बैठिए देखइ दिनन को फेरजब नीके दिन आइहैं बनत न लगिहै देर
रहीम
ग़ज़ल
मय-कदे में पी के मय अव्वल तो चुप रहना पड़ाबात जब निकली तो साक़ी को ख़ुदा कहना पड़ा
मुज़्तर ख़ैराबादी
शे'र
अर्श गयावी
बैत
रंग महफ़िल का देख कर चुप हैं
रंग महफ़िल का देख कर चुप हैंवो समझते हैं बे-ज़बाँ हैं हम
कामिलुल क़ादरी
ग़ज़ल
जो चुप बैठूँ तो इक कोह-ए-गिराँ मा'लूम होता हूँजो लब खोलूँ तो दरिया-ए-रवाँ मा'लूम होता हूँ
ख़्वाजा अज़ीज़ुल हसन मज्ज़ूब
फ़ारसी सूफ़ी काव्य
हर-नफ़स आवाज़:-ए-इश्क़ मी-रसद अज़ चप-ओ-रास्तमा ब-फ़लक मी-रवेम अ'ज़म-ए-तमाशा कि रास्त
रूमी
कलाम
चुप रहो 'रिज़वाँ ख़ुदा के वास्ते अब चुप रहोऐसे नुक्तों से हर इक का क़ल्ब गर्माया गया
अज़ीज़ुद्दीन रिज़वाँ क़ादरी
कलाम
आँखों में नमी सी है चुप-चुप से वो बैठी हैंनाज़ुक सी निगाहों में नाज़ुक सा फ़साना है