आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "tishnagi-e-lab"
अत्यधिक संबंधित परिणाम "tishnagi-e-lab"
शे'र
मियान-ए-तिश्नगी प्यासों ने ऐसी लज़्ज़तें लूटींकि आब-ए-तेग़-ए-क़ातिल बे-मज़ा मा’लूम होता है
मुज़्तर ख़ैराबादी
बैत
तिश्नगी का मिरी अब कौन भरम रक्खेगा
तिश्नगी का मिरी अब कौन भरम रक्खेगासाक़ी खुलता है न रिंदों का दहन खुलता है
कामिलुल क़ादरी
कलाम
ग़ुंच-सा लब बंद है शोर-ए-‘अनादिल दिल में हैलब पे है मोहर-ए-सुकूत इक शोर बरपा दिल में है
ख़्वाजा हमीदुद्दीन अहमद
अन्य परिणाम "tishnagi-e-lab"
अरिल्ल
अरिल छंद - राम भजहु लब लाइ प्रेम पद पाइया
राम भजहु लब लाइ प्रेम पद पाइयासफल मनोरथ होय सत्त गुन गाइया
गुलाल साहब
कलाम
जिस्म दमकता ज़ुल्फ़ घनेरी रंगीं लब आँखें जादूसंग-ए-मरमर ऊदा बादल सुर्ख़ शफ़क़ हैराँ आहू
जावेद अख़तर
ग़ज़ल
फ़ुग़ाँ के साथ लब तक दम-ब-दम आने से क्या हासिलदिल-ए-मुज़्तर को समझा दो कि घबराने से क्या हासिल
भोलानाथ माएल
सलोक
फ़रीदा नेहु ता लब केहा लब ता कूड़ा नेहु
फ़रीदा नेहु ता लब केहा लब ता कूड़ा नेहुकिचर तांईं रखीऐ तुटे झूम्बर मेहु
बाबा फ़रीद
साखी
लव का अंग - लब लागी तब जानिये छूटि कभूँ नहिं जाय
लब लागी तब जानिये छूटि कभूँ नहिं जायजीवत लव लागी रहै मूए तहँहि समाय
कबीर
ना'त-ओ-मनक़बत
ग़यास आग़ाज़ी
कलाम
नाला-ए-दिल लब से जिस दिन आश्ना हो जाएगादेख लेना तुम कि 'आलम क्या से क्या हो जाएगा