इशारत - ज़े-तरसाई ग़रज़ तजरीद दीदम
इशारत ब-तरसाई
ज़े-तरसाई ग़रज़ तजरीद दीदम
ख़लास अज़ रब्क़:-ए-तक़लीद दीदम
जनाब-ए-क़ुद्स-ए-वहदत दैर-ए-जानस्त
कि सीमुर्ग़-ए-बक़ा रा आशियान-अस्त
ज़े-रूहुल्लाह पैदा गश्त ईं कार
कि अज़ रूहुल-क़ुदुस आमद पदीदार
हम अज़ अल्लाह दर पेश-ए-तू जानी-अस्त
कि अज़ रूहुल-क़ुदुस दर वै निशानी-अस्त
अगर याबी ख़लास अज़ नफ्स-ए-नासूत
दराई दर हयात-ए-क़ुदस-ए-लाहूत
हर आँ कस कू मुजर्रद चूँ मलक शुद
चू रूहल्लाह बर चारुम फ़लक शुद
तमसील
बुवद महबूस तिफ़्ल-ए-शीर-ख़्वार:
ब-नज़्द-ए-मादर अंदर गाहवार:
चु गश्त ऊ बालिग़ व मर्द-ए-सफ़र शुद
अगर मुर्दस्त हमराह-ए-पिदर शुद
अनासिर मर तू-रा चूँ उम्म-ए-सिफ़लीस्त
तू फ़र्ज़न्दी पिदर आबा-ए-उलवी-अस्त
अज़ाँ मी-गुफ़्त ईसा गाह-ए-असरा
कि आहंग-ए-पिदर दारम ब-बाला
तू हम जान-ए-पिदर सू-ए-पिदर शौ
पिदर रफ़्तन्द हमराहाँ पिदर शौ
अगर ख़्वाही कि गर्दी मुर्ग़-ए-पर्वाज़
जहान-ए-जीफ़: पेश-ए-करगस अंदाज़
ब-दू-नान देह मर ईं दुनिया-ए-ग़द्दार
कि जुज़ सग रा न-शायद दाद मुर्दार
नसब चे बूद मुनासिब रा तलब कुन
ब-हक़ रौ आ वरो तर्क-ए-नसब कुन
ब-बहर-ए-नेस्ती हर कू फ़रव शुद
फला अंसाब नक़्द-ए-वक़्त-ए-ऊ शुद
हर आँ निस्बत कि पैदा शुद ज़े-शहवत
नदारद हासिले जुज़ किब्र-ओ-नख़वत
अगर शहवत न बूदे दरमियानः
नस्ब-हा जुमल: मी-गश्ती फ़सानः
चु शहवत दरमियानः कारगर शुद
यके मादर शुद आँ दीगर पिदर शुद
नमी-गोयम कि मादर या पिदर कीस्त
कि बा ईशाँ ब-हुर्मत बायदत ज़ीस्त
निहाद: नाक़िसे रा नाम-ए-ख़्वाहर
हसूदी रा लक़ब कर्द: बरादर
अ'दू-ए-ख़्वेश रा फ़र्ज़न्द-ख़्वानी
ज़े-ख़ुद बेगान: ख़्वेशानन्द ख़्वानी
मरा बारे बगो ता ख़ाल-ओ-अ'म कीस्त
व ज़े-ईशाँ हासिले जुज़ दर्द-ए-ग़म चीस्त
रफ़ीक़ाने कि बा तू दर तरीक़-अन्द
पय-ए-हज़्ल ऐ बिरादर हम रफ़ीक़न्द
ब-सोहबत-ए-शाँ अगर यक-दम नशीनी
अज़ ईशाँ मन चे गोयम ता चे बीनी
हम: अफ़्सान:-ओ-अफ़्सून-ओ-पन्द-अस्त
ब-जान-ए-ख़्वाज: कि ईन-हा रीशख़न्द-अस्त
ब-मर्दी वा रहाँ ख़ुद रा चू मर्दां
व लेकिन हक़-ए-कस ज़ाया मगर दाँ
ज़े-शरअ' अर यक दक़ीक़: माँद मोहमल
शवी तू दर दो कौन अज़ दीं मोअ'त्तल
हुक़ूक़-ए-शरआ' रा ज़िन्हार म-गुज़ार
व लेकिन ख़ेशतन रा हम निगह-दार
ज़ेसोज़न नीस्त इल्ला माय:-ए-ग़म
बजा ब-गुज़ार चूँ ई'सा-ए-मरियम
हक़ीक़ी शौ ज़े-हर क़ैद-ए-मज़ाहिब
दर आँ दर दीन मानिन्द-ए-राहिब
तू-रा ता दर नज़र अग़्यार-ओ-ग़ैर-अस्त
अगर दर मस्जिद-ए-आँ ऐ'न-ए-दैर-अस्त
चु बर-ख़ेज़द ज़े-पेशत किस्वत-ए-ग़ैर
शवद बह्र-ए-तू मस्जिद गोश:-ए-दैर
नमी-दानम बहर हाले कि हस्ती
ख़िलाफ़-ओ-ग़ैर बरूँ कुन कि रिसती
बुत-ओ-ज़ुन्नार-ओ-तरसाई-ओ-नाक़ूस
इशारत शुद हम: बर तर्क-ए-नामूस
अगर ख़्वाही कि गर्दी बंद:-ए-ख़ास
मुहय्या शौ बराए सिद्क़-ओ-इख़्लास
ब-रौ ख़ुद रा ज़े-राह-ए-ख़्वेश बर-गीर
ब-हर यक लहज़ः दर ईमान ज़-सर गीर
ब-बातिन नफ़्स-ए-तू चू हस्त काफ़िर
म-शो राज़ी ब-दीं इस्लाम-ए-ज़ाहिर
ज़े-नौ हर लहज़ः ईमाँ ताज़: गर्दां
मुसलमाँ शौ मुसलमाँ शौ मुसलमाँ
बसे ईमाँ बुवद कज़ कुफ़्र ज़ायद
न कुफ़्र-अस्त आँ कज़ ऊ ईमाँ फ़ज़ायद
रिया-ओ-सुम्अ':-ओ-नामूस ब-गुज़ार
ब-यफ़गन ख़िर्क़:ओ-बर-बन्द ज़ुन्नार
चू पीर-ए-मा शौ अंदर कुफ़्र फ़र्द
अगर मर्दी ब-देह दिल रा बमर्दे
मुजर्रद शौ ज़े-हर इक़रार-ओ-इंकार
ब-तरसा ज़ादः देह दिल रा ब-यक बार
Additional information available
Click on the INTERESTING button to view additional information associated with this sher.
About this sher
Lorem ipsum dolor sit amet, consectetur adipiscing elit. Morbi volutpat porttitor tortor, varius dignissim.
rare Unpublished content
This ghazal contains ashaar not published in the public domain. These are marked by a red line on the left.