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Sufinama
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मुजीबुलहक़ कमाली

1863 - 1917 | गया, भारत

सिमला गया का एक सूफ़ी शाइ’र जिसका सिलसिला-ए-तलम्मुज़ ग़ालिब से मिलता है

सिमला गया का एक सूफ़ी शाइ’र जिसका सिलसिला-ए-तलम्मुज़ ग़ालिब से मिलता है

मुजीबुलहक़ कमाली की ग़ज़लें

aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

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